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दून विश्वविद्यालय के एमबीए के छात्रों को अमेरिका के दो विश्वविद्यालयों के प्रोफेसर प्रबंधन के गुर सिखाएंगे। खास बात यह होगी कि छात्रों को जहां सालभर ऑनलाइन माध्यम से विदेशी शिक्षण प्रणाली से रूबरू होने का मौका मिलेगा। वहीं, अमेरिकन फैकल्टी दून विवि पहुंचकर 30-30 दिन के लेक्चर लेगी। माना जा रहा है कि वैश्विक स्तर पर शिक्षा प्रणाली को अपनाने और समझने की दिशा में यह कारगर कदम साबित होगा।
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अभी तक ज्यादातर वर्चुअल माध्यम से विवि एवं अन्य शिक्षण संस्थानों में विदेशी विशेषज्ञों के साथ संवाद होता रहा है, लेकिन दून विवि ने फिजिकल तौर पर विदेशी फैकल्टी से पढ़ाई कराए जाने की पहल की है। इसकी शुरुआत विवि के एमबीए डिपार्टमेंट से की गई है। दून विवि के प्रस्ताव को यूएस की दो यूनिवर्सिटी से सहमति मिल गई है।
इंडो- अमेरिकन एजुकेशन सिस्टम को अपनाने में मिलेगी मदद
विवि के स्कूल ऑफ मैनेजमेंट के विभागाध्यक्ष प्रो. गजेंद्र सिंह ने बताया कि यूनिवर्सिटी ऑफ ऑकलैंड मिशिगन यूएस के प्रो. राजीव सिंघल फाइनेंशियल एकाउंटिंग पर लेक्चर देंगे।इसके अलावा कैलीफोर्निया स्टेट यूनिवर्सिटी यूएस के प्रो. दीपक अग्रवाल फाइनेंशियल एनालिसिस विषय पढ़ाएंगे। दोनों प्रोफेसर हाईब्रिड मोड में एमबीए के छात्रों को विषय की जानकारी देंगे। यानी ऑनलाइन कक्षाओं के साथ-साथ विश्वविद्यालय पहुंचकर करीब एक माह तक शिक्षण कराएंगे।
शुरुआत में विदेशी फैकल्टी एमबीए के प्रथम सेमेस्टर के 60 छात्रों को पढ़ाएगी। नई शिक्षा नीति में जिस तरह से वैश्विक स्तर पर समान शिक्षा पर जोर दिया गया है। माना जा रहा है कि इसी तर्ज पर विदेशी फैकल्टी के शिक्षण से इंडो- अमेरिकन एजुकेशन सिस्टम को अपनाने में मदद मिलेगी।
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कैट के जरिए एमबीए में प्रवेश की तैयारी
दून विवि में अभी तक मैनेजमेंट एप्टीट्यूट टेस्ट (एमएटी) के जरिए एमबीए में प्रवेश किए जा रहे हैं, लेकिन अब कॉमन एडमिशन टेस्ट यानी कैट के जरिए प्रवेश लिए जाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। इसके लिए विवि जल्द आवेदन करेगा। विभागाध्यक्ष प्रो. गजेंद्र सिंह ने बताया कि इसके बाद कैट के माध्यम से प्रवेश लिए जाएंगे।