![South Korea: दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति के खिलाफ महाभियोग का प्रस्ताव, मार्शल लॉ लगाने पर गहराया विवाद impeachment motion against South Korea president Yoon Suk Yeol for implement martial law](https://staticimg.amarujala.com/assets/images/2024/12/04/south-korea-south-korea-president_3793cc5c81fdbde6bd7f1f5efafb3aea.jpeg?w=414&dpr=1.0&q=50)
दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति
– फोटो : एएनआई
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दक्षिण कोरिया में मार्शल लॉ लागू करने पर विवाद गहरा गया है। विपक्षी पार्टियों ने राष्ट्रपति यून सुक योल के खिलाफ महाभियोग का प्रस्ताव पेश किया है। दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति ने मंगलवार को देश में मार्शल लॉ लागू करने का एलान किया था। हालांकि भारी दबाव के चलते कुछ ही घंटे बाद उन्होंने इस घोषणा को वापस ले लिया था। विपक्षी सांसदों का कहना है कि संसद को राष्ट्रपति को तुरंत हटाने पर फोकस करना चाहिए। विपक्ष का कहना है कि जब तक राष्ट्रपति योल पद पर रहेंगे, तब तक देश में हालात सामान्य नहीं हो सकेंगे।
राष्ट्रपति योल ने क्यों लगाया था मार्शल लॉ
राष्ट्रपति ने टीवी पर प्रसारित बयान में बताया कि देश को उत्तर कोरिया और देश विरोधी ताकतों से खतरा है। हालांकि विपक्ष का आरोप है कि अपनी राजनीति परेशानियों के चलते राष्ट्रपति ने मार्शल लॉ लगाने का फैसला किया था। मंगलवार रात को राष्ट्रपति ने अपने संबोधन में सरकार को कमजोर करने के विपक्ष के प्रयासों का जिक्र किया और कहा कि ‘तबाही मचाने वाली देश विरोधी ताकतों को कुचलने के लिए मार्शल लॉ की घोषणा करते हैं।’
राष्ट्रपति के एलान के बाद दक्षिण कोरिया में हुआ बवाल
मार्शल लॉ का अर्थ था कि देश अस्थायी तौर पर सेना के नियंत्रण में चला गया। हालांकि राष्ट्रपति ने जैसे ही मार्शल लॉ लगाने का एलान किया, वैसे ही हजारों की संख्या में लोग दक्षिण कोरिया की सड़कों पर निकल आए और राजधानी सियोल में संसद के बाहर लोगों की भारी भीड़ इकट्ठा हो गई। मार्शल लॉ लगते ही सैन्य बल संसद में दाखिल हो गए और संसद के बाहर पुलिस और प्रदर्शनकारियों में झड़प शुरू हो गई। वहीं पुलिस को संसद में दाखिल होने से रोकने के लिए सांसद भी पुलिसकर्मियों से भिड़ गए। भारी विरोध के चलते राष्ट्रपति ने हार मान ली और कुछ ही घंटे बाद संसद में हुए मतदान को स्वीकार करते हुए मार्शल लॉ का आदेश वापस ले लिया।
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