राजद एमएलसी सुनील सिंह
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पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के मुंहबोले भाई राजद कोर्ट से एमएलसी सुनील की सदस्यता रद्द हो गई है। विधान परिषद् की आचार समिति ने सुनील सिंह पर कार्रवाई की अनुशंसा की थी। आरोप लगाया गया कि सुनील सिंह पिछली चार बैठक से सदन में उपस्थित नहीं हुए। पांचवीं में वह आए लेकिन आरोपों पर कोई जवाब नहीं दिया। इतना ही नहीं वह मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ बयानबाजी करते आ रहे हैं। उनका व्यवहार भी असंसदीय और लोकतंत्र के खिलाफ है। ऐसे में उनकी सदस्यता क्यों न रद्द कर दी जाए। इसके मानसून सत्र के अंतिम बैठक में उनकी सदस्यता रद्द कर दी गई। उपसभापति रामवचन ने उनकी सदस्यता रद्द करने के प्रस्ताव पर स्वीकृति दी। वहीं राजद एमएलसी कारी सोहैब को शीतकालीन सत्र में दो दिनों के लिए निलंबित किया गया।
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बिस्कोमान के अध्यक्ष पद से हटाया दिया गया था
सुनील सिंह ने कहा कि एक लोकसभा सदस्य बनने के लिए दूसरे ने उपसभापति बनने के लिए ऐसी रिपोर्ट तैयार की और हमारी बलि दे दी। उनका इशारा सीतामढ़ी से संसद बने पूर्व सभापति देवेश चंद्र ठाकुर और उपसभापति रामवचन राय ओर था। बता दें गुरुवार देर रात सुनील सिंह को बिस्कोमान के अध्यक्ष पद से हटाया दिया गया था।
राजद नेता ने सीएम नीतीश कुमार पर लगाए गंभीर आरोप
वहीं राजद नेता सुनील सिंह ने कहा आज का दिन काला दिन माना जाएगा। आज विधान परिषद में लोकतंत्र की हत्या की गई है। मेरी सदस्यता रद्द कर दी गई। इस घटना की पटकथा मुख्यमंत्री आवास पर लिखी गई थी। मैं गरीबों के लिए, युवाओं के लिए आवाज उठता रहा। मैं लगातार जनहित में आवाज उठता रहा। मैं शुरू से ही सीएम नीतीश कुमार को खटकता था। साजिश के तहत मेरी सदस्यता रद्द कर दी गई। आप किसी से पूछ लीजिए वह कहेंगे कि यह लोकतांत्रिक मूल्यों की हत्या की है। नियम के विरूद्ध उनकी हत्या की गई है। सीएम नीतीश कुमार ने प्रलोभन देकर यह साजिश रचवाई। मिमिक्री के सवाल पर उन्होंने कहा कि सारे आरोप निराधार और बेबुनियाद हैं। इसकी जांच होनी चाहिए।